नई दिल्ली। संसद का मानसून सत्र सोमवार से शुरू हो रहा है। इस सत्र के हंगामेदार रहने की संभावना है। इसके संकेत विपक्ष ने रविवार को सरकार द्वारा बुलाई सर्वदलीय बैठक में दे दिए। सत्र से एक दिन पहले हुई बैठक में कांग्रेस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अनुपस्थिति पर नाराजगी जताई।सरकार में शामिल अपना दल (एस) ने केंद्र से जाति जनगणना पर जल्द निर्णय लेने और सरकारी नौकरियों में बैकलॉग खत्म करने के लिए नीति बनाने की मांग की। इस दौरान अलग-अलग दलों ने अग्निपथ योजना, केंद्रीय एजेंसियों के कथित दुरुपयोग, महिला आरक्षण, महंगाई जैसे विषय पर चर्चा की मांग की।राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खरगे ने कहा कि यह लगातार दूसरा अवसर है जब प्रधानमंत्री सर्वदलीय बैठक में मौजूद नहीं है। क्या प्रधानमंत्री और सरकार सत्र को गंभीरता से नहीं ले रहे हैं। उन्होंने सत्र में महंगाई, बेरोजगारी, अग्निपथ योजना पर विस्तृत चर्चा की मांग की। उन्होंने सरकार द्वारा केंद्रीय एजेंसियों के दुरुपयोग पर भी चिंता जाहिर करते हुए इस मामले में चर्चा की मांग की।
अपना दल-शिवसेना ने उठाया जातिगत जनगणना का मामला
केंद्रीय मंत्री अनुप्रिया पटेल ने इस दौरान सरकार से जातिगत जनगणना मामले में जल्द निर्णय लेने का अनुरोध करते हुए इसे बेहद जरूरी बताया। उन्होंने सरकारी नौकरियों में बढ़ते बैकलॉग को खत्म करने के लिए भी नीति बनाने की मांग की। उन्होंने कहा कि ये दो मुद्दे बेहद अहम हैं, इन मुद्दों पर सरकार को गंभीरता से विचार करना चाहिए। शिवसेना के विनायक राउत ने भी जातिगत जनगणना कराने के साथ इसी सत्र में महिला आरक्षण विधेयक लाने की मांग की।
*राजनाथ बोले चर्चा हुई तो दूंगा जवाब*
बैठक में मौजूद रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने अग्निपथ योजना पर भ्रम फैलाने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि सरकार कई स्तर पर इस योजना से जुड़े सभी पहलुओं पर अपना रुख स्पष्ट कर चुकी है। अगर इस योजना पर संसद में चर्चा हुई तो वह विस्तार से इससे जुड़ी आशंकाओं पर जवाब देंगे।